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ब्रिक्स क्या है। ब्रिक्स के बारे में संपूर्ण जानकारी

 
Brics

ब्रिक्स की स्थापना

Brazil Russia India China South Africa
इसका विचार Goldman Sach के कर्मचारी जिम ओ नील की रिपोर्ट building better global economic BRIC में रखा गया।
इस रिपोर्ट में कहा गया है, कि 21वीं सदी में यह चार अर्थव्यवस्था ही सबसे महत्वपूर्ण होगी।
2050 तक चीन विश्व की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था होगी तथा भारत तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था होगी। इसलिए इन देशों को आपस में सहयोग करना चाहिए।
2006 में BRIC देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक आयोजित की गई है।
2009 में रूस के येकटेरिनबर्ग शहर में इसकी आधिकारिक शुरुआत हुई।
2010 में अफ्रीका के प्रतिनिधि के रूप में दक्षिण अफ्रीका को शामिल किया गया और वर्तमान नाम दिया गया।

BRICS का महत्व:-
यह विश्व की 43% जनसंख्या तथा 22% GDP का प्रतिनिधित्व करता है। 
अंतरराष्ट्रीय राजनीति में बहु-ध्रुवीयता का समर्थन करता है। 
विकासशील देशों के हितों की रक्षा के लिए सहयोग स्थापित करता है।
अंतरराष्ट्रीय समस्याओं जैसे वैश्विक वित्तीय व्यवस्था में सुधार, जलवायु परिवर्तन, आतंकवाद जैसे मुद्दों पर चर्चा के लिए मंच उपलब्ध करवाता है।

BRICS की उपलब्धियां:-
1. BRICS के द्वारा नियमित शिखर सम्मेलनों का आयोजन किया जा रहा है।
2. येकटेरिनबर्ग सम्मेलन में वैश्विक आर्थिक मंदी से निपटने के लिए सहयोग पर चर्चा की गई तथा वैश्विक आरक्षित मुद्रा (global reserve currency) का विचार रखा गया। 
3. 2012 में नई दिल्ली में सम्मेलन आयोजित किया गया जिसमें IMF मे सुधारों की मांग की गई तथा ब्रिक्स बैंक का विचार रखा गया। 
4. 2014 के फोर्टेलेजा सम्मेलन (ब्राज़ील) में आधिकारिक रूप से ब्रिक्स बैंक की स्थापना की गई
इसे न्यू डेवलपमेंट बैंक (NDB) कहा जाता है।  
मुख्यालय - शंघाई

NDB - यह एक बहुउद्देशीय बैंक है, जो कि सतत विकास की परियोजनाओं तथा आधारभूत ढांचे के लिए  उपलब्ध करवाता है।  
इसकी कुल पूंजी $100 बिलियन है, जिसमें सदस्य देशों की भागीदारी बराबर है अर्थात इनका मत मूल्य भी बराबर है।  
NDB के क्षेत्रीय मुख्यालय - 
जोहान्सबर्ग (दक्षिण अफ्रीका)
साओ पाऊलो (ब्राज़ील)

NDB का प्रथम अध्यक्ष - के वी कामथ (भारत)

Contingency reserve arrangement
सदस्य देश भुगतान संतुलन संकट के समय इस व्यवस्था से ऋण ले सकते है। 
इसकी कुल पूंजी $100 बिलियन है। 
चीन = $41 बिलियन 
भारत, रूस, ब्राजील = $54 बिलियन (प्रत्येक का $18 बिलियन)
दक्षिण अफ्रीका = $5 बिलियन

2016 का सम्मेलन गोवा (भारत) में आयोजित किया गया, जिसमें आतंकवाद एक महत्वपूर्ण मुद्दा था।  
11 वां शिखर सम्मेलन नवंबर 2019 में ब्रासीलिया (ब्राजील) में आयोजित किया गया। 

• 27 मई 2020 को मार्कोस प्राडो ट्रॉयजो (ब्राजील) को NDB का नया अध्यक्ष बनाया गया।

• 12वां शिखर सम्मेलन 17 नवंबर 2020 को रूस की अध्यक्षता में आयोजित किया गया।

इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि आतंकियों को सहायता व समर्थन देने वाले देशों को दोषी ठहराया जाए और इस समस्या से संगठित तरीके से निपटा जाए।
मोदी की इस टिप्पणी का रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने तत्काल प्रभाव से समर्थन किया।
• साथ ही मोदी ने अपनी तरफ से आतंकवाद के खिलाफ ब्रिक्स देशों की एक संयुक्त कार्ययोजना बनाने के लिए सदस्य देशों के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों (एनएसए) की एक समिति भी गठित करने का प्रस्ताव किया।
• प्रधानमंत्री मोदी ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के साथ-साथ विश्व व्यापार संगठन (WTO), अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) और विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) जैसी बहुपक्षीय संस्थाओं में सुधार की जरूरत को भी रेखांकित किया।
• आतंकवाद के खतरे से प्रभावी तरीके से निपटने के लिए ब्रिक्स देशों ने सदस्य देशों के बीच द्विपक्षीय और बहुपक्षीय सहयोग मजबूत करने की आतंकवाद रोधी रणनीति को जारी किया।
इस दस्तावेज के अनुसार ब्रिक्स समूह आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने, उकसाने, मदद देने, वित्त पोषण करने और उसे बढ़ावा देने वालों के खिलाफ ठोस कदम उठाने पर विचार करेगा।

• 13वां शिखर सम्मेलन 2021 में भारत की अध्यक्षता में आयोजित किया जाएगा।
भारत तीसरी बार ब्रिक्स समूह की अध्यक्षता करेगा।

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