20 लाख करोड रुपए का आर्थिक पैकेज
हाल ही 12 मई 2020 को प्रधानमंत्री मोदी ने देश की आर्थिक गतिविधियों को रफ्तार देने के लिए 20 लाख करोड़ रुपए के विशेष आर्थिक पैकेज की घोषणा की। यह पैकेज भारत की जीडीपी का लगभग 10% है। (संजीवनी पैकेज)उल्लेखनीय है कि वर्तमान में भारत में 25 लाख करोड़ रुपए की मुद्रा प्रचलन में है।
Economic Stimulus आर्थिक प्रेरक
सरकार द्वारा देश को वित्तीय संकट से बचाने एवं आर्थिक गतिविधियों को बढ़ाने के लिए किए गए प्रयास आर्थिक प्रेरक कहलाते हैं।इसके अंतर्गत करों में कटौती, सरकारी खर्चों में वृद्धि अथवा राजकोषीय एवं मौद्रिक नीति में सुधारों को शामिल किया जाता है।
Pump Priming Theory पंप प्राइमिंग थ्योरी
• यह सिद्धांत अमेरिका के अर्थशास्त्री जे एम कीन्स के सिद्धांतों पर आधारित है। जो कि 1929-30 कि वैश्विक आर्थिक मंदी के दौरान विकसित किया गया।
• इसका प्रयोग मंदी या संकट के समय अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए किया जाता है।
• इसके अंतर्गत बंद पड़ी अर्थव्यवस्था को शुरू करने के लिए सरकार द्वारा कुछ मात्रा में धनराशि अर्थव्यवस्था में डाली जाती है। (पानी निकालने वाली मोटर की तरह)
आत्मनिर्भर भारत के 5 स्तंभ
भारत आत्मनिर्भर बन सकता है। यह भव्य इमारत पांच पिलर्स पर खड़ी है।पहला पिलर - इकोनॉमी
एक ऐसी इकोनॉमी जो इन्क्रीमेंटल चेंज नहीं, बल्कि क्वांटम जम्प लगाए। (अर्थव्यवस्था में वृद्धि गुणज में)
दूसरा पिलर - इन्फ्रास्ट्रक्चर
एक ऐसी आधारभूत संरचना जो आधुनिक भारत की पहचान बने।
तीसरा पिलर- सिस्टम
ऐसी प्रणाली जो बीती शताब्दी की रीति नहीं, बल्कि 21वीं शताब्दी की टेक्नोलॉजी ड्रिवन (Driven) व्यवस्था पर आधारित हो।
चौथा पिलर- डेमोग्राफी
दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र की डेमोग्राफी आत्मनिर्भर भारत के लिए हमारी ऊर्जा का स्रोत है।
पांचवां पिलर- डिमांड
इसका चक्र और इसकी ताकत का इस्तेमाल किए जाने की जरूरत है।
आत्मनिर्भर भारत के संकल्प को सिद्ध करने के लिए इस पैकेज में लैंड, लेबर, लिक्विडी और लॉ सभी पर बल दिया गया है।
निम्नलिखित क्षेत्रों से संबंधित घोषणाएं की गई है -
MSME = Micro, Small & Medium Enterprises.
EPF = Employee Provident Fund.
RERA = Real Estate Regulatory Authority.
दिनांक
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क्षेत्र
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13 मई 2020
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एमएसएमई, इपीएफ, पीएम गरीब कल्याण योजना, रियल स्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी
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14 मई 2020
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प्रवासी, मजदूर एवं किसान वर्ग
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15 मई 2020
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कृषि
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16 मई 2020
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खनन, अंतरिक्ष, रक्षा
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17 मई 2020
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स्टेट फिस्कल पॉलिसी, ईज आफ डूइंग बिजनेस, हेल्थ, एजुकेशन
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आत्मनिर्भर भारत पैकेज का गणित
पैकेज से पूर्व की घोषणाएं
1. 22 मार्च 2020 से करों में छूट के कारण राजस्व में कमी 7,800 करोड़ रूपए2. प्रधानमंत्री गरीब कल्याण पैकेज 1,70,000 करोड़ रूपए
3. स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए प्रधानमंत्री की घोषणा 15,000 करोड़ रूपए
कुल योग 1,92,800
प्रधानमंत्री गरीब कल्याण पैकेज
घोषणा - वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कोरोना महामारी और उसके आर्थिक प्रभाव से निपटने के लिए 26 मार्च 2020 को 1.70 लाख करोड रुपए के राहत पैकेज की घोषणा की।
प्रावधान -
(1) अस्पतालों और स्वास्थ्य केंद्रों के 22 लाख कर्मचारियों का 50 लाख का बीमा होगा।
(2) प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना - इसके तहत 80 करोड़ गरीबों को 3 महीने तक फ्री अनाज (5-5 किलो) तथा 1 किलो दाल (क्षेत्र / पसंद के अनुसार) दी जाएगी।
5 किलो चावल / गेहूं
1 किलो दाल
कुल लाभान्वित - 80 करोड़ लोगों को दिए जाएंगे इसमें कुल खर्च 40000 करोड़ रुपए होगा।
यह राशन सार्वजनिक वितरण प्रणाली (PDS) के तहत मिलने वाले राशन से अतिरिक्त है।
(3) प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना नगद हस्तांतरण (DBT)
(A) प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना के तहत 8.7 करोड किसानों के खाते में अप्रैल के पहले सप्ताह में अतिरिक्त ₹2000 डाल दिए जाएंगे।
(इस योजना में किसानों को 1 वर्ष में तीन किस्तों में कुल ₹6000 दिए जाते हैं)
(B) प्रधानमंत्री जनधन योजना (PMJDY) के तहत 20.5 करोड़ महिलाओं के जनधन खातों में तीन माह तक 500-500 रूपए बैंक खाते में मिलेंगे।
(C) गरीब वरिष्ठ नागरिकों, विधवाओं, दिव्यांगों को दो किस्तों में 1000 रुपए खाते में मिलेंगे (अगले 3 माह तक)
(D) उज्ज्वला योजना के तहत 3 महीने गैस सिलेंडर फ्री दिए जाएंगे।
(E) मनरेगा के तहत मजदूरी ₹20 बढ़ाकर 182 रुपए प्रति दिन से ₹202 प्रति दिन की है। इससे 13.62 करोड परिवार लाभान्वित होंगे।
(F) संगठित क्षेत्र - 3 माह तक प्रोविडेंट फंड (PF) में कर्मचारी और नियोक्ता का अंशदान (12+12%) सरकार देगी। (मार्च-अप्रैल-मई)
यह फैसला उन कंपनियों पर लागू होगा जिनके कर्मचारियों की संख्या 100 या 100 से कम है और इन में से 90% का वेतन ₹15000 से कम है ।
--- इससे 72.22 लाख कर्मचारी तथा 3.67 लाख कंपनियां लाभान्वित होगी।
(G) कर्मचारी अपने अंशदान का 75% हिस्सा या 3 महीने के वेतन के बराबर राशि में जो कम हो उसे निकाल सकता है। (5 करोड़ कर्मचारी लाभान्वित)
(H) महिलाओं के माध्यम से चलने वाले स्वयं सहायता ग्रुपों (SHG) को अब बिना कुछ गिरवी रखे बैंक से 10 लाख के स्थान पर ₹20 लाख तक का कर्ज मिल सकेगा।
लाभान्वित होंगे --7 लाख करोड़ परिवार
(I) भवन एवं अन्य निर्माण क्षेत्र के मजदूरों के कल्याण हेतु 31000 करोड रुपए का बिल्डिंग वेलफेयर फंड बनाया जाएगा।
इससे 3.5 करोड़ पंजीकृत मजदूरों को राहत मिलेगी।
(J) 3 करोड़ गरीब वरिष्ठ नागरिकों, विधवाओं और दिव्यांगों को सरकार अगले 3 महीने तक घर बैठे 1,000 रुपए देगी। (Ex-Gratia)
(K) राज्य सरकारें स्वास्थ्य सेवा संबंधित कार्यों को अंजाम देने के लिए district mineral fund का इस्तेमाल कर सकेगी।
जिला खनिज निधि - खनन के नकारात्मक प्रभावो को संतुलित करने हेतु।
जिला खनिज निधि (DMF)• इसका पूरा नाम डिस्ट्रिक्ट मिनरल फाउंडेशन फंड है।
• जिला खनन और खनिज (विकास एवं नियामक) संशोधन अधिनियम 2015 के तहत डीएमए फंड बनाए गए।
• इस फंड का नियंत्रण राज्य सरकारों द्वारा किया जाता है।
• यह गैर-लाभकारी ट्रस्ट होता है जिसका प्रयोग खनन से प्रभावित लोगों एवं क्षेत्र के कल्याण हेतु किया जाता है।
• यह जिला स्तर पर संग्रह किया जाता है। खान मालिक 10% रॉयल्टी जमा कराते हैं।
• इसका प्रयोग प्रधानमंत्री खनिज क्षेत्र कल्याण योजना के तहत प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में किया जाता है। जैसे - पेयजल, महिला एवं बाल कल्याण, कौशल विकास, शिक्षा और स्वच्छता।
Stimulus Part 1 (13 May 2020 Announcement)
MSME
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Micro, Small & Medium Enterprises.
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W/C Facility
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Working Capital Facility कार्यशील पूंजी सुविधा
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Collateral
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गिरवी/जमानत/सुरक्षा
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MCLR
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Marginal Cost of funds based Landing Rate.
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Subordinate debt
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पुनः भुगतान में कम प्राथमिकता वाले ऋण
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Stressed MSMEs
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संकटग्रस्त एमएसएमई
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Turnover
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किसी वर्ष में कंपनी का कुल विक्रय (Total Sell)
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EPF
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कर्मचारी भविष्य निधि
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Credit
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ऋण
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DISCOMs
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डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी
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Genco
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बिजली उत्पादन वाली कंपनी।
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Transco
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बिजली को उत्पादन यूनिट से ग्रिड तक पहुंचाने वाली कंपनी।
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DISCOM
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ग्रिड से घरों तक बिजली वितरण करने वाली कंपनी
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• इस स्कीम के तहत केवल बकाया ऋण वाले ही एमएसएमई को ऋण मिलेगा।
• एमएसएमई द्वारा बकाया ऋण के 20% तक वापस ऋण लिया जा सकता है।
• इस प्रावधान के तहत 45 लाख एमएसएमई यूनिट को फायदा होगा।
• एमएसएमई को गारंटी फीस, गारंटी या गिरवी रखने की जरूरत नहीं होगी।
• सरकार 100% गारंटी कवर देगी।
• इस योजना के तहत 4 साल के लिए कर्ज दिया जाएगा जिसमें पहले 12 महीने तक मूलधन भुगतान करने से भी छूट रहेगी। (12 महीने का मोराटोरियम)
• यह ऋण बैंक और एनबीएफसी से लिया जा सकेगा।
• इस स्कीम के तहत ब्याज की दर -
बैंक = एमसीएलआर से 1% अधिक तक
एनबीएफसी = 14% तक
• इस योजना का लाभ 31 अक्टूबर 2020 तक लिया जा सकता है।
• 100 करोड रुपए तक के कारोबार करने वाले होंगे पात्र।
• 25 करोड रुपए की देनदारी (Outstanding) वाले एमएसएमई भी ले सकेंगे कर्ज।
CGTMSE सीजीटीएमएसई
• पूरा नाम - क्रेडिट गारंटी ट्रस्ट फॉर माइक्रो एंड स्मॉल एंटरप्राइज।
• लॉन्च - 2000 में
• यह सिडबी की सहायता से कार्य करता है। (SIDBI)
• यह छोटे एवं सूक्ष्म उद्योगों के लिए ऋण लेने पर का गारंटी प्रदान करता है।
2. संकटग्रस्त एमएसएमई के लिए 20,000 करोड़ रुपए
• एनपीए हो चुकी या कर्ज नहीं चुका पा रही एमएसएमई को कर्ज मिलेगा।
• सरकार सीजीटीएमएसई को 4,000 करोड रुपए का सहयोग करेगी। जिससे सीजीटीएमएसई, एमएसएमई को आंशिक क्रेडिट गारंटी सहयोग करेगी। (ऋण का लगभग 20%)
• इस प्रावधान से 2 लाख एमएसएमई को फायदा होने का अनुमान है।
नोट - देश की जीडीपी में 29% योगदान एमएसएमई का है।
देश के निर्यात में 48% योगदान एमएसएमई का है।
3. एमएसएमई के विस्तार के लिए फंड ऑफ फंड्स बनाया जाएगा।
• इसके लिए इक्विटी के माध्यम से 50,000 करोड़ रुपए का निवेश होगा। (समता अंश पूंजी के माध्यम से)
• इसके लिए 10,000 करोड़ रुपए का कॉर्पस फंड बनेगा।
• एक मदर फंड और कई डॉटर फंड बनाए जाएंगे।
कंपनियां बैंक से कैश क्रेडिट और डेट बांड के जरिए पैसे ले सकेंगी।
• यह फंड बेहतर काम कर रही एमएसएमई के विस्तार में सहायक होगा।
• एमएसएमई को शेयर बाजार में सूचीबद्ध होने के लिए प्रेरित किया जाएगा।
• यह प्रक्रिया इसी महीने से शुरू हो जाएगी।
एमएसएमई की परिभाषा बदल दी गई है।
एमएसएमई अधिनियम 2006 में एमएसएमई की परिभाषा को परिवर्तित किया गया है।
विनिर्माण क्षेत्रऔर सेवा क्षेत्र दोनों के लिए एमएसएमई की परिभाषा समान होगी।
पहली बार निवेश के अलावा टर्नओवर को भी शामिल किया गया है।
सूक्ष्म उद्योग - 1 करोड़ रुपए तक के निवेश और 5 करोड़ रुपए तक के टर्नओवर वाले।
लघु उद्योग - 10 करोड़ रुपए तक के निवेश और 50 करोड़ रुपए तक के टर्नओवर वाले।
मध्यम उद्योग - 20 करोड़ रुपए तक के निवेश और 100 करोड़ रुपए तक के टर्नओवर वाले।
अन्य फैसले
• सरकार अगर 200 करोड रुपए तक की खरीद करेगी तो उसके लिए ग्लोबल टेंडर जारी नहीं किया जाएगा।• जनरल फाइनेंशियल रूल्स में बदलाव किया जाएगा ताकि देश के छोटे उद्योगों को टेंडर हासिल करने का मौका मिल सके।
• सरकार एमएसएमई के उत्पादों की मार्केटिंग के लिए ई- प्लेटफार्म उपलब्ध कराएगी। जो कि व्यापार मेलें और प्रदर्शनियों का स्थान लेंगे। (कोविड-19 के कारण मार्केटिंग की समस्या है)
• सरकार और सरकारी कंपनियों द्वारा एमएसएमई से की गई खरीद के भुगतान को 45 दिन के अंदर किया जाना सुनिश्चित किया जाएगा।
• सरकार प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के तहत जून, जुलाई और अगस्त तक नियोक्ता और कर्मचारी दोनों का ईपीएफ योगदान (12-12%) देना जारी रखेगी। (कंपनी में कर्मचारियों की संख्या 100 या 100 से कम तथा कर्मचारियों का वेतन ₹15000 से कम)
ईपीएफ में 2500 करोड रुपए का निवेश किया जाएगा।
• एक और फैसले के तहत तीन महीने (जून जुलाई और अगस्त) तक कंपनियों और कर्मचारियों के ईपीएफ योगदान को 10-10% कर दिया गया है।
सरकारी और सरकारी क्षेत्र की कंपनियों (पीएसयू) को 12% ही देना होगा, लेकिन कर्मचारियों को 10% पीएफ देना होगा।
SAVE WATER
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